हमारे गोरखपुर में एक महान संत हुए जो गीताप्रेस गोरखपुर के कई पुस्तको के संपादक भी थे !
स्वामी रामसुखदासजी महाराज जिन्होंने कभी जीवन में अपनी पूजा ,अपने नाम का प्रचार तक नही किया !
लोगो को भगवान में लगाया गीता रामायण का प्रचार किया !
स्वामी जी का फोटो तक मिलना दुर्लभ हैं !
अगर कभी कोई स्त्री उनके पैरो को छू भी लेती तो पूरा दिन भूखे प्यासे रह जाते थे,ऐसा कठोर उनका ब्रह्मचर्य था !
आज वर्तमान में चारों ओर भीड़ हैं ऐसे सच्चे संत ,महात्मा से मिल पाना मुश्किल हो गया हैं !
~हरि बोल !
#Gorakhpur
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